दीदी और मेरा लेज़्बीयन सेक्स

हाय फ्रेंड्स मैने अब तक बहुत सी सेक्स स्टोरीस पढ़ी है आप मे से बहुत लड़के लड़किया एसी कहानी लिखते है की मेरी चुत मे पानी आ जाता है और पूरी मेरी चुत गीली होकर मेरी पूरी चड्डी (पैंटी) भीगा देती है.
मैने अब तक अपनी सेक्स स्टोरी नही बताई क्योंकि मुझे थोड़ी हिचकीचाहट लग रही थी पर अब तक इतनी कहानी पढ़ चुकी हू की मुझे अपनी कहानी आपको बताने मे बहुत खुशी हो रही है और बहुत एग्ज़ाइट्मेंट भी है.
ये मेरी पहली हिन्दी सेक्स कहानी है तो अब मैं अपना इंट्रो दे दू मैं इशू मेरी उमर अभी 20 साल है और मैं अभी कॉलेज मे पढ़ती हू मैं बहुत सेक्सी हू और बहुत ज़्यादा गोरी भी हू और मेरी फिगर 36-28-36 है मुझे फिट रहना बहुत ज़्यादा पसंद है इससे लड़के अट्रॅक्ट होते है ओर लड़कियों को भी इंटरेस्ट आता है.
अब मेरी दीदी के बारे मे बता दू मेरी दीदी का नाम सोनिया है वो मेरे से 2 साल बड़ी है और वो मेरे से ज़्यादा सेक्सी है और इतनी गोरी है की मैं भी फीकी पड़ जाउ वो अपने कॉलेज की टॉप की लड़की है उसका फिगर कुछ 34-30-36 है उसका एक बाय्फ्रेंड भी है और दीदी को सेक्स के बारे मे बहुत कुछ पता है और वो घर मे सिर्फ़ शॉर्ट्स पहनके घूमती है.
उसकी थाइस एंड बूब्स देखने से ही मेरी चुत मे पानी आ जाता है मुझे वो इतनी सेक्सी लगती है की मैं उसे बहुत बार कपड़े चेंज करते देखती हू और नहाने के लिए जाते समय उसको देखती हू और उसने निकाली हुई चड्डी और ब्रा मैं सूंघ कर अपनी चुत मे उंगली करती हू उसकी पैंटी की खुशबू इतनी मादक है की मैं पागल हो जाती हू.
अब ज़्यादा ना टाइम लेते हुए स्टोरी स्टार्ट करती हू ये बात कुछ महीने पहले की है जब ऐसेही मैं अपने दीदी को कई बार नहाते और कपड़े बदलते देखती थी एक दिन हा मैं बताना भूल गयी हमारे घर मे मैं मेरी दीदी ओर मोम डॅड रहते है तो एक दिन मोम ओर डॅड हमारे रिलेटिव्स के शादी मे गये थे उस टाइम मेरी और दीदी की एग्ज़ॅम थी.
इसलिए हम नही गये ओर घर की 3 चाबी है एक मेरे मोम डॅड के पास एक दीदी और एक मेरे पास रहती है उस दिन मोम डॅड सुबह ही शादी के लिए चले गये थे दीदी सुबह एग्ज़ॅम दे के आई थी और मैं उसके बाद कॉलेज गयी थी मेरा उस दिन एग्ज़ॅम प्रॅक्टिकल था मेरी दीदी को पता नही था उसे लगा.
मैं रोज की तरह लेट आउंगी उस दिन दीदी घर मे अकेली थी और शायद अकेले होने से वो अपनी फॅंटेसी पूरी करना चाहती थी मैं कॉलेज से जल्दी आ गयी ओर दोपहर होने की वजह से दरवाजा खोलके दीदी को डिस्टर्ब कर दूँगी इसलिए मैने अपने पास की चाबी से डोर खोल के घर मे चली गयी और जाके फ्रेश हो कर आई और बेड पे लेट गयी तभी दोपहर की शांति थी तब मैने हल्के से कुछ आवज़ सुनी मैने पहले तो इग्नोर किया.
फिर आवज़ आती ही जा रही थी तो मैं उठी और आवाज़ के दिशा मे जाने लगी वो आवाज़ दीदी के रूम से आ रही थी मैने देखा की डोर थोड़ा सा खुला था तो मैने सोचा की दीदी को कुछ हुआ तो नही इसलिए जाकर धीरे से डोर के पास गयी पर डोर खोलने से पहले मुझे क्लियर आवाज़े आने लगी तो मैने कान देकर सुना तो कुछ ऐसी आवज़ थी ओह्ह्ह्ह्ह्ह आअह अह्ह्ह्ह्ह्ह ओह्ह माय गॉड्ड्ड उम्म्म सस्स्स्सस्स.
तो मैने जो दरवाजा खुला था तोड़ा सा वाहा से अंदर झाँके देखा तो देखती ही रही मुझे मेरी आँखों पे यकीन नही हो रहा था मैं जो देख रही थी वो मुझे सपना लग रहा था मेरे सामने मेरी दीदी पूरी नंगी बेड पे लेटी हुई थी और अपनी टांगे फैलाकर लेटी हुई थी और उसकी चूत पूरी खुली हुई थी उसका एक हात उसके बूब्स पे था जो की बहुत भरे हुए गोरे गोरे और उसके पिंक निप्पल थोड़े से ब्राउन कलर के पूरे तने हुए थे और दूसरे हात से अपनी चुत मसल कर कराह रही थी.
ये देख कर मेरे होश उड़ गये और मेरा सपना जैसे सच हो गया था जिसको मैं इतने दिन से देखना चाह रही थी वो आज मेरे सामने नंगी चुत फैलाकर मज़े ले रही थी मैं वही खड़े रह के मज़े लेने को सोची और आवाज़ न करते हुए देखते रही और देखते देखते मेरे हात मेरे पैंट के उपर से ही चुत पर घूम रही थी और मैं अपने होंटो को अपने दांतो से काट रही थी.
मुझसे रहा नही जा रहा था तो मैने एक हाथ से मेरे टीशर्ट को उपर करके अंदर हात डाल के बूब्स को मसल रही थी और अब दीदी जो की अपनी चुत मसलते हुए आअ उम्म्म्म उूउउइ स्स्स कर के आवाज़े कर रही थी उसने अपनी गंद उछाल उछाल कर पुसी को मसल रही थी मेरी दीदी शायद से रेग्युलर शेव करती थी क्योंकि उसके चुत पे बिल्कुल बाल नही थे दीदी का पूरा बदन पसीने से भीग रहा था और वो ज़ोर से चिल्ला उठी और ज़ोर ज़ोर से साँसे लेने लगी.
शायद वो झड़ चुकी थी और वो रुक ही नही रही थी बेड पे ऐसे उछल रही थी जैसे उसको कोई चोद रहा हो उस कमरे मे सिरफफ़्फ़ आआआअ उउउ एम्म्म हाआआ आवाज़ आ रही थी और तब मैने देखा तो मेरी चुत से पानी निकल कर मेरी पैंट गीली हो कर बाहर आ गया था पर अब तक मैं झड़ी नही थी.



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